बर्फ़ की ठंडक में छुपा है बीमारी का खतरा! जानिए बर्फ़ से होने वाले संभावित नुकसान
सारांश
गर्मी में बर्फ़ का सेवन क्यों बढ़ जाता है? गर्मी में शरीर का तापमान बढ़ने लगता है और पसीना बहने से पानी की कमी भी महसूस होती है। ऐसे में लोग तुरत-फुरत राहत के लिए बर्फ़ खाते हैं या बर्फ़ वाला पानी पीते हैं। बच्चों से लेकर बड़ों तक बर्फ़ का स्वाद और
गर्मी में बर्फ़ का सेवन क्यों बढ़ जाता है?
गर्मी में शरीर का तापमान बढ़ने लगता है और पसीना बहने से पानी की कमी भी महसूस होती है। ऐसे में लोग तुरत-फुरत राहत के लिए बर्फ़ खाते हैं या बर्फ़ वाला पानी पीते हैं। बच्चों से लेकर बड़ों तक बर्फ़ का स्वाद और ठंडक बेहद भाती है। लेकिन हर रोज़ बर्फ़ खाना सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है।
बर्फ़ खाने के तुरंत ठंडक देने वाले फायदे
- गर्मी में तात्कालिक राहत: बर्फ़ खाने से गला ठंडा होता है और प्यास मिटती है।
- लू लगने पर मददगार: कुछ लोग लू लगने पर बर्फ़ से शरीर पोंछते हैं, जिससे तापमान नियंत्रित होता है।
- सूजन कम करने में सहायक: चोट या जलन पर बर्फ़ लगाने से सूजन कम होती है।
लेकिन ये फायदे तभी तक हैं जब तक बर्फ़ साफ और सही तरीके से इस्तेमाल की जाए।
बर्फ़ खाने से होने वाले संभावित नुकसान
गले में खराश और संक्रमण
बर्फ़ सीधे खाने से गले की नाजुक झिल्ली पर असर पड़ता है, जिससे खराश, सूजन और इंफेक्शन हो सकता है। खासकर बच्चों और बुजुर्गों के लिए ये जोखिम भरा होता है।
दांतों पर बुरा असर
ठंडी बर्फ़ दांतों की इनेमल पर बुरा असर डालती है। इससे दांत कमजोर हो सकते हैं और सेंसिटिविटी बढ़ जाती है।
पाचन संबंधी समस्याएँ
बर्फ़ का सेवन पाचन क्रिया को धीमा करता है। ज्यादा ठंडी चीजें खाने से पेट दर्द, अपच और दस्त हो सकते हैं।
नकली बर्फ़ और उसकी खतरनाक सच्चाई
गंदे पानी से बनी बर्फ़ का खतरा
सड़कों पर बिकने वाली बर्फ़ अक्सर अशुद्ध पानी से बनाई जाती है, जिसमें बैक्टीरिया और हानिकारक रसायन होते हैं।
सड़कों पर बिकने वाली बर्फ़ के संक्रमण
खुले में पड़ी बर्फ़ में धूल, मक्खियाँ और वायरस लग सकते हैं, जो खाने के साथ शरीर में पहुँचते हैं और बीमार कर सकते हैं।

बर्फ़ खाने की आदत: पिका डिसऑर्डर (Pica Disorder)
इसके लक्षण
अगर किसी को रोज़ बर्फ़ खाने की आदत पड़ जाए और बिना वजह बर्फ़ चबाए बिना चैन न आए, तो यह पिका नामक डिसऑर्डर हो सकता है।
इसके मानसिक और शारीरिक प्रभाव
पिका में शरीर में आयरन की कमी होती है और व्यक्ति मानसिक तनाव या एनीमिया का भी शिकार हो सकता है।
बच्चों के लिए बर्फ़ का खतरा
श्वास अवरोध का डर
छोटे बच्चे अगर बर्फ़ मुँह में डाल लें तो गले में फँसने और सांस रुकने का खतरा बढ़ जाता है।

पेट दर्द और दस्त
अशुद्ध बर्फ़ से बच्चों को पेट दर्द, उल्टी और दस्त हो सकते हैं।
बर्फ़ के विकल्प: बेहतर और सुरक्षित उपाय
गर्मी में ठंडक पाने के लिए सिर्फ बर्फ़ ही एकमात्र उपाय नहीं है। कुछ प्राकृतिक और हेल्दी विकल्प भी हैं, जो शरीर को नुकसान पहुँचाए बिना राहत देते हैं:
ठंडी लस्सी, छाछ और जूस
दही से बनी लस्सी और छाछ शरीर को ठंडा रखने के साथ-साथ पाचन में भी मदद करती है। वहीं मौसमी फलों के ताजे जूस जैसे तरबूज, बेल और आम का पना भी शानदार विकल्प हैं।
घर की बनी आइस क्रीम
बाजार की आइस क्रीम में केमिकल्स और प्रिज़र्वेटिव्स होते हैं। बेहतर है घर पर दूध, फलों और ड्राईफ्रूट्स से हेल्दी आइस क्रीम बनाएं।
नारियल पानी
नारियल पानी प्राकृतिक इलेक्ट्रोलाइट्स से भरपूर होता है, जो शरीर में पानी की कमी पूरी करता है और गर्मी से राहत देता है।
गर्मी में हाइड्रेटेड रहने के घरेलू तरीके
- दिनभर सामान्य पानी खूब पिएं।
- फलों का सेवन करें, जैसे तरबूज, खीरा, और संतरा।
- नींबू पानी में काला नमक और पुदीना मिलाकर पीना बेहद फायदेमंद है।
- बेल का शर्बत या आम पना गर्मी के लिए प्राकृतिक उपाय हैं।

बर्फ़ खाने से जुड़ी भ्रांतियाँ और सच्चाई
कई लोगों का मानना है कि गर्मी में बर्फ़ खाना नुकसान नहीं करता, जबकि सच्चाई इससे अलग है। बर्फ़ का सीधा सेवन गले, दांत और पाचन क्रिया पर असर डाल सकता है। हाँ, अगर साफ और सीमित मात्रा में बर्फ़ का इस्तेमाल किया जाए तो उससे नुकसान कम हो सकता है।
क्या बर्फ़ से वज़न कम होता है?
कई लोग सोचते हैं कि बर्फ़ खाने से कैलोरी बर्न होती है, लेकिन ऐसा कोई पुख़्ता वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है। बर्फ़ खाने से वज़न कम करने का दावा गलत है। उल्टा लगातार बर्फ़ खाने से पाचन बिगड़ सकता है और दूसरी दिक्कतें बढ़ सकती हैं।
गर्मी में बर्फ़ को कैसे सुरक्षित रूप से इस्तेमाल करें
पीने के पानी में डालने के लिए साफ बर्फ़ का प्रयोग
अगर बर्फ़ का इस्तेमाल करना ही है तो उसे फिल्टर किए गए पानी से बनाएं और हमेशा साफ कंटेनर में रखें।
त्वचा पर लगाने के लिए साफ कपड़े में लपेटें
सूजन, जलन या चोट पर बर्फ़ सीधे न लगाकर उसे एक साफ कपड़े में लपेटकर इस्तेमाल करें।
डॉक्टर की सलाह कब लें?
अगर किसी को बार-बार गला खराब हो, दांतों में दर्द हो, या बर्फ़ खाने की आदत (पिका) लग जाए तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें। बच्चों में सांस लेने में दिक्कत या पेट की समस्या हो तो भी तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
FAQs
1. क्या रोज़ बर्फ़ खाना हानिकारक है?
हाँ, रोज़ बर्फ़ खाना गले, दांत और पाचन तंत्र के लिए नुकसानदायक हो सकता है। इससे पिका डिसऑर्डर भी हो सकता है।
2. गले में खराश के लिए बर्फ़ ठीक है या नहीं?
खराश के समय बर्फ़ खाना गले की सूजन और बढ़ा सकता है। बेहतर है गुनगुने पानी से गरारे करें।
3. नकली बर्फ़ की पहचान कैसे करें?
अगर बर्फ़ जल्दी नहीं पिघलती या उसमें गंध आती है तो वो नकली या गंदे पानी से बनी हो सकती है।
4. बच्चों को बर्फ़ देना चाहिए या नहीं?
बिल्कुल नहीं। छोटे बच्चों को बर्फ़ खाने से सांस रुकने, गला खराब होने और पेट की समस्या हो सकती है।
5. गर्मी में शरीर को ठंडा रखने के घरेलू उपाय?
नींबू पानी, लस्सी, नारियल पानी, बेल शर्बत और ताजे फल खाना सबसे अच्छा उपाय हैं।
6. क्या बर्फ़ खाने से वज़न घटता है?
नहीं, बर्फ़ खाने से वज़न नहीं घटता। यह सिर्फ एक मिथ है, जिसे मानना गलत है।
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